शिक्षा

जिंदगी को हसीन बनाना है तो प्लास्टिक को ना कहें: पाठक

देहरादून। जन केसरी

जिंदगी को हसीन बनाना है तो प्लास्टिक को ना कहें। बाजार जाए तो कपड़े व जूट का थैला लेकर जाए। इससे स्टैंडर्ड कम नहीं होगी बल्कि धीरे धीरे लोगों की मानसिकता बदलेगी। कम से कम सप्ताह में दो दिन साइकिल अवश्य चलाये। ये बात केवि स्कूल के प्रधानाचार्य अशोक कुमार पाठक ने स्कूल में आयोजित अधिगम के रंग अभिभावकों के संग कार्यक्रम के दौरान कही।
शुक्रवार को आयोजित कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा कि एक समय था जब गंगा गोमुख से निकलती थी लेकिन अब बच्चों को अभिभावक बताते हैं कि गंगा गंगोत्री से निकलती है। क्योंकि गोमुख जैसे पवित्र जगह को लोगों ने गंदा कर दिया। प्रदूषण कर किया। इसलिए अब जगने और जगाने का समय आ गया है। इसके अलावा वेस्ट प्लास्टिक से तैयार प्रोडक्ट की प्रदर्शनी का आयोजन किया गया। ये प्रोडक्ट बच्चों द्वारा बनाया गया था। अभिभावकों को भी प्रदर्शनी में आमंत्रित किया। सभी को जागरूक किया गया कि वे प्लास्टिक का इस्तेमाल ना करें। इस अवसर पर प्राइमरी के मुख्य अध्यापक महेश जोशी, वरिष्ठ शिक्षक एसके त्रिपाठी, शिक्षक रमेश थपलियाल आदि उपस्थित रहे।


बैंक का स्थापना
प्रधानाचार्य अशोक कुमार पाठक ने कहा कि नगर निगम से एक अनुबंध किया गया है। अभिभावक व बच्चे अब घर से प्लास्टिक लेकर स्कूल गेट के सामने डस्टबिन में डाल सकते हैं। ये प्लास्टिक नगर निगम को तौल कर बेचा जाएगा। उन्होंने बताया कि निगम इस प्लास्टिक को कूड़ेदान में नहीं डालेगा बल्कि आईआईपी को देगा। वे इससे डीजल बनाएंगे जिसका इस्तेमाल कोई भी कर सकता है।

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